हरिद्वार। उत्तराखंड में भू-कानून को लेकर वरिष्ठ नागरिक सामाजिक संगठन ने राज्य सरकार से पूरे प्रदेश में समान भू-कानून लागू करने की मांग की है। संगठन का कहना है कि उधम सिंह नगर और हरिद्वार को छोड़कर शेष 11 जिलों में अलग भू-कानून लागू करने से क्षेत्रवाद को बढ़ावा मिलेगा, जो राज्य की एकता, अखंडता और समान विकास के सिद्धांतों के विपरीत है।
संगठन के अध्यक्ष चैधरी चरण सिंह ने कहा कि अलग-अलग भू-कानून से सामाजिक विभाजन और आपसी भाईचारे पर असर पड़ेगा। इससे निवेश और विकास कार्य प्रभावित होंगे तथा आर्थिक असंतुलन बढ़ेगा, जो पलायन को भी मजबूर करेगा। उन्होंने कहा कि यह नीति समानता के सार्वभौमिक अधिकार के खिलाफ है और इससे कानूनी विवाद उत्पन्न हो सकते हैं।
संगठन ने सरकार से इस सख्त कानून पर पुनर्विचार कर पूरे राज्य में संतुलित और एक समान भू-कानून बनाने का आग्रह किया, ताकि सभी क्षेत्रों का समान विकास हो और सामाजिक सौहार्द बना रहे। इस दौरान विद्यासागर गुप्ता, बाबूलाल सुमन, हरदयाल अरोड़ा, सुखबीर सिंह सहित अन्य सदस्यों ने भी अपनी बात रखी।