जब हम स्ट्रीट फूड का आनंद लेने निकलते हैं, तो सफाई को लेकर बेहद सजग हो जाते हैं। पानीपुरी खाते समय बिना ग्लव्स वाले हाथों से बचते हैं, और बर्तनों की स्वच्छता पर शक करते हुए डिस्पोजल प्लेट्स या कप में खाना ज्यादा सुरक्षित मानते हैं। लेकिन क्या कभी हमने सोचा है कि ये डिस्पोजल वाकई सुरक्षित हैं? क्या इनकी सफाई या निर्माण प्रक्रिया की हमें पूरी जानकारी है?
सच्चाई यह है कि अधिकतर डिस्पोजल प्लेट्स और कप कम गुणवत्ता वाली प्लास्टिक या थर्मोकोल से बनाए जाते हैं, जो न केवल स्वास्थ्य के लिए हानिकारक हैं, बल्कि गर्म खाने के संपर्क में आने पर हानिकारक रसायन छोड़ते हैं। कई बार ये खुले में रखे जाते हैं, जिन पर धूल-मिट्टी और कीटाणु आसानी से जमा हो सकते हैं। क्या ऐसे में बर्तनों से बचना और डिस्पोजल का चुनाव वास्तव में समझदारी है या सिर्फ एक भ्रम?
हमारी प्राथमिकता सिर्फ दिखावटी सफाई तक सीमित हो गई है। ग्लव्स पहनने वाला विक्रेता अगर उन्हीं ग्लव्स से पैसे भी संभालता है, तो सफाई का फायदा कहां रह जाता है? डिस्पोजल इस्तेमाल करने से बीमारी का खतरा कम नहीं होता, बल्कि कभी-कभी यह ज्यादा खतरनाक साबित हो सकता है।
समाधान क्या है?
- विक्रेता से साफ पानी का इस्तेमाल करने की मांग करें।
- अपने साथ स्टील या बायोडिग्रेडेबल कटलरी रखें।
- फूड हाइजीन पर समझौता न करें – स्वाद के चक्कर में स्वास्थ्य से खिलवाड़ न करें।
तो अगली बार जब आप स्ट्रीट फूड खाने जाएं, तो आंखें खोलकर सोचें – क्या आप वाकई सफाई का ध्यान रख रहे हैं या सिर्फ एक झूठी तसल्ली में जी रहे हैं?